केन-बेतवा नदी लिंक परियोजना उद्देश्य केन और बेतवा नदियों को आपस में जोड़ना है। यह परियोजना राष्ट्रीय नदी जोड़ो परियोजना (National River Linking Project) का हिस्सा है, जिसे जल संसाधनों के प्रबंधन और जल संकट को हल करने के लिए शुरू किया गया है।
इस परियोजना के अंतर्गत केन नदी पर पन्ना में 77 मीटर लंबा तथा 2 किमी. चौड़ा दौधन बांँध (Dhaudhan Dam) एवं उत्तरप्रदेश के बरुआ सागर और मध्यप्रदेश के पन्ना तक 221 किलोमीटर लंबी नहर का निर्माण कार्य शामिल है। बांध से 103 मेगावाट जल-विद्युत के उत्पादन के साथ ही 62 लाख लोगों हेतु पेयजल की आपूर्ति सुनिश्चित होगी।
लाभ क्षेत्र:
मध्य प्रदेश के मध्यप्रदेश के 10 जिले छतरपुर, पन्ना, टीकमगढ़, निवाड़ी, दमोह, शिवपुरी, दतिया, रायसेन, विदिशा और सागर। उत्तरप्रदेश के और उत्तर प्रदेश के 3 जिलों को मिला कर कुल 13 जिलों को इससे लाभ होगा। जिससे लगभग 10.62 लाख हेक्टेयर भूमि सिंचाई योग्य बनेगी और 62 लाख लोग पेयजल सुविधाओं से लाभान्वित होंगे।
समस्या :
1. पन्ना टाइगर रिजर्व पर प्रभाव: दौधन बांध के निर्माण से पन्ना टाइगर रिजर्व का बड़ा हिस्सा जलमग्न हो सकता है, जिससे जैव विविधता को नुकसान होगा।
2. वन्य जीवों पर प्रभाव: बाघों, घड़ियालों और अन्य प्रजातियों के आवास पर खतरा उत्पन्न होगा।
3. पुनर्वास: परियोजना से प्रभावित लोगों का पुनर्वास एक बड़ी चुनौती है।