बिहार सरकार के विधानमंडल ने 18 फरवरी 2019 को राज्य में जाति आधारित जनगणना (सर्वे) कराने का प्रस्ताव पारित किया था। 2 जून 2022 को बिहार मंत्री परिषद ने जाति आधारित जनगणना कराने का फ़ैसला किया। इसे दो चरणों में किया गया। पहले चरण में 7 जनवरी 2023 से 31 जनवरी 2023 तक मकानों का नंबरीकरण किया गया और लिस्ट बनाई गई। इसके बाद दूसरे चरण में राज्य के सभी व्यक्तियों की जनगणना का काम 15 अप्रैल 2023 को शुरू किया गया।
5 अगस्त 2023 को सारे आंकड़े बनाकर मोबाइल ऐप के जरिए उसे जमा किया गया। इस जाति आधारित गणना के अनुसार कुल आबादी 13 करोड़ 7 लाख 25 हजार 310 है।
वर्ग के आधार पर राज्य में जनसंख्या
- पिछड़ा वर्ग - 27.1286%
- अत्यंत पिछड़ा वर्ग - 36.0148%
- अनुसूचित जाति - 19.6518%
- अनुसूचित जनजाति - 1.6824%
- अनारक्षित - 15.5224%
जाति के आधार पर राज्य में जनसंख्या
- यादव- 14. 2666 %
- कुर्मी- 2.8785 %
- कुशवाहा- 4.2120 %
- ब्राह्मण- 3.6575 %
- भूमिहार- 2.8683 %
- राजपूत- 3.4505 %
- मुसहर- 3.0872 %
- मल्लाह- 2.6086 %
- बनिया- 2.3155 %
- कायस्थ- 0.60 %
धर्म के आधार पर जनसंख्या का आंकड़ा
- हिन्दू - 81.99%
- इस्लाम - 17.70%
- ईसाई - 0.05%
- सिख - 0.011%
- बौद्ध - 0.0851%
- जैन - 0.0096%