महिला एवं बाल विकास विभाग के द्वारा 7 जुलाई से 16 जुलाई 2021 तक सभी जिलों कर आंगनबाड़ी केन्द्रों में वजन त्यौहार मनाया गया। इस त्यौहार में 0 से 7 वर्ष तक के बच्चों का वजन लिया गया एवं 11 से 18 वर्ष तक कि आयु वाले बच्चों का हीमोग्लोबिन टेस्ट भी किया गया।
वजन त्यौहार के उद्देश्य :
- पूरे राज्य में जन-जन को कुपोषण के प्रति जागरूक करना। प्रत्येक परिवार को उनके बच्चों की सही पोषण स्थिति से अवगत कराते हुए प्रत्येक गांव में कम वजन वाले बच्चों को चिन्हित कर कुपोषण की सही स्थिति का पता लगाना।
- कुपोषण की सही स्थिति को जानकर कर राज्य में कुपोषित बच्चों की स्थिति का डाटाबेस तैयार करना।
- कुपोषण विषय पर जन जागरूकता में वृद्धि हो सकेगी।
- राज्य में कुपोषण की वर्तमान स्थिति की जानकारी तैयार हो सकेगी, इस आधार पर कुपोषण कम करने की कार्ययोजना तैयार की जा सकेगी। किन विशेष स्थानो/ वर्गों में कुपोषण ज्यादा है, यह भी स्पष्ट हो सकेगा और उनके लिए विशेष योजना बना सकेंगे। सुपोषण मिशन के क्रियान्वयन हेतु बेसलाईन सर्वे एवं लक्षित बच्चों का चिन्हांकन में मदद मिल सकेगा।
- किशोरी बालिकाओं के एनिमिया के स्तर में सुधार लाना एनीमिया के स्तर का आंकलन करना।
2024 : राष्ट्रीय पोषण माह (1 से 30 सितम्बर) के अंतर्गत छत्तीसगढ़ शासन महिला एवं बाल विकास विभाग द्वारा वजन तिहार का आयोजन किया जा रहा है। वजन तिहार में शून्य से 6 वर्ष के बच्चों के पोषण स्तर और उनके शारीरिक विकास की जांच की जाती है।